महर्षि संस्थान सम्पूर्ण भारत में
महर्षि वेद पीठों की स्थापना करेगा
Brahmchari Girish Chandra Varma Ji |
ब्रह्मचारी गिरीश जी ने बतलाया कि ‘‘परम पूज्य महर्षि महेश योगी ज्योतिष्पीठोद्धारक ज्योतिष्पीठाधीश्वर शंकराचार्य अनन्त श्री विभूषित स्वामी ब्रह्मानन्द सरस्वती जी महाराज बद्रिकाश्रम हिमालय के शिष्य थे और उन्होंने सम्पूर्ण विश्व में अपने गुरुदेव के आशीर्वाद से वैदिक ज्ञान विज्ञान का प्रचार-प्रसार करके भारत का सम्मान बढ़ाया। महर्षि जी ने स्वयं को कभी गुरू नहीं कहा न अपनी पूजा करवाई, केवल अपने गुरुदेव की ही पूजा करवाकर जय गुरु देव का उद्घोष करते हुए सारा कार्य किया। आजकल तो अपने आप को गुरू, भगवान और न जाने क्या-क्या कहलवाने और अपनी पूजा करवाने की होड़ सी लगी है। भारत की ये वैदिक पीठ श्री गुरुदेव की कृपा और महर्षि जी के आशीर्वाद से स्थापित होंगी और उनकी ही ज्ञान परम्परा का पालन करेंगी।’’
वैदिक ज्ञान की सबको आवश्यकता है। भारतवर्ष में सैकड़ों संस्थान वेद-विज्ञान के प्रचार-प्रसार, अध्ययन-अध्यापन में अपना-अपना बहुमूल्य योगदान दे रहे हैं। महर्षि संस्थान भारतवर्ष के समान उद्देश्यों वाले संस्थान को साथ लेकर विस्तृत योजना बनाकर इसका क्रियान्वयन करेगा। सर्वे भवन्तु सुखिनः ही इस योजना का परम उद्देश्य होगा।
महर्षि वेद पीठों में सैद्धांतिक अध्ययन-अध्यापन के साथ-साथ योगाभ्यास, प्राणायाम, भावातीत ध्यान, सिद्धि कार्यक्रम, योगिक उड़ान जैसे साधना के कार्यक्रम भी आयोजित किये जायें। इसके अतिरिक्त जीवन को वैदिक उपायों से सुखी, समृद्ध, स्वस्थ, सुरक्षित, प्रबुद्ध तथा अजेय बनाने के लिये परामर्श भी दिया जायेगा।
विजय रत्न खरे, निदेशक - संचार एवं जनसम्पर्क
महर्षि शिक्षा संस्थान
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